सीबीआई के शिकंजे में प्रदीप बैजल
रवीन्द्र जैन
भोपाल। सीबीआई पिछले दो तीन दिन से देश के सबसे बड़े घोटाले 2जी स्पेक्ट्रम के सिलसिले में मप्र केडर के सेवानिवृत आईएएस अधिकारी प्रदीप बैजल से पूछताछ कर रही है। बैजल 1966 बैच के आईएएस अधिकारी थे और वे प्रतिनियुक्ति पर देरसंचार विभाग के सचिव के अलावा ट्राई के सचिव रह चुके हैं। लेकिन वे वर्तमान में इस घोटाले से जुडी देश की स बसे बड़ी दलाल नीरा राडिया की कंपनी नोएसिस के निदेशक हैं। यह कंपनी दूरसंचार कंपनियों को सलाह देने का काम करती है।
दिल्ली से आ रहीं खबरों के अनुसार सीबीआई ने नीरा राडिया पर सीधे शिकंजा कंसने के पहले उनकी कंपनी के निदेशक एवं मप्र केडर के आईएएस अधिकारी प्रदीप बैजल पर शिंकजा कंस दिया है। बताते हैं कि प्रदीप बैजल ने 2जी स्पेक्ट्रम का लायसंस पाने वाली कंपनी को सलाह दी थी। सीबीआई 2जी स्पेक्ट्रम के नाम पर हुए लगभग पौने दो लाख करोड़ के घोटाले की जांच कर रही है। वह यह पता लगाने का प्रयास कर रही है कि इस घोटो में नीरा राडिया व प्रदीप बैजल की कितनी भूमिका रही है? सीबीआई द्वारा प्रदीप बैजल से की जा रही पूछताछ मप्र के प्रशासनिक हलकों में चर्चा का विषय बनी हुई है, क्योंकि बैजल ने मप्र में लंबा समय व्यतीत किया है। मंत्रालय में यह भी चर्चा है कि सेवानिवृत्ति के बाद भी नौकरी का लालच बैजल को भारी पड़ सकता है।
Thursday, November 25, 2010
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